Warning: include_once(/home/u140703092/domains/karmyoginews.com/public_html/wp-content/plugins/wp-super-cache/wp-cache-phase1.php): Failed to open stream: No such file or directory in /home/u459374497/domains/vishvasamachar.com/public_html/wp-content/advanced-cache.php on line 22

Warning: include_once(): Failed opening '/home/u140703092/domains/karmyoginews.com/public_html/wp-content/plugins/wp-super-cache/wp-cache-phase1.php' for inclusion (include_path='.:/opt/alt/php82/usr/share/pear:/opt/alt/php82/usr/share/php:/usr/share/pear:/usr/share/php') in /home/u459374497/domains/vishvasamachar.com/public_html/wp-content/advanced-cache.php on line 22
इंदिरा गांधी की हत्या वाली झांकी पर कनाडा का वही पुराना राग, भारत को एक्शन का इंतजार… – vishvasamachar

इंदिरा गांधी की हत्या वाली झांकी पर कनाडा का वही पुराना राग, भारत को एक्शन का इंतजार…

भारत में कनाडा के राजदूत कैमरन मैकके ने मंगलवार को कहा कि कनाडा में हिंसा को बढ़ावा देना कभी स्वीकार्य नहीं किया जाएगा।

ग्रेटर टोरंटो में एक कार्यक्रम में पूर्व प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या को दर्शाने वाली झांकी दिखाए जाने के दो दिन बाद उनका ये बयान आया है।

इससे द्विपक्षीय संबंधों में नए तनाव पैदा हो गए हैं। इतने गंभीर मुद्दे पर कनाडा ने एक बार फिर से वही पुराना रुख दोहराया है। कनाडा हर बार इसी तरह के बयान देकर पल्ला झाड़ लेता है। जबकि भारत को इन उपद्रवियों के खिलाफ एक्शन का इंतजार है।

भारत ने पहले ही इस मुद्दे को कनाडाई अधिकारियों के समक्ष उठाया है। मैकके ने एक्स पर कहा, “कनाडा सरकार रविवार को ब्रैम्पटन में प्रदर्शित की गई अन्य तस्वीरों से अवगत है। कनाडा की स्थिति स्पष्ट है: कनाडा में हिंसा को बढ़ावा देना कभी भी स्वीकार्य नहीं है।”

इंदिरा गांधी की हत्या का महिमामंडन करने वाली झांकी ऑपरेशन ब्लूस्टार की 40वीं वर्षगांठ मनाने के लिए ब्रैम्पटन में निकाली गई परेड का हिस्सा थी।

ऑपरेशन ब्लूस्टार जून 1984 में अमृतसर के स्वर्ण मंदिर से आतंकवादियों के नेता जरनैल सिंह भिंडरावाले सहित आतंकवादियों को बाहर निकालने के लिए किया गया भारतीय सेना का एक अभियान था।

भारत लंबे समय से कनाडा से मांग करता रहा है कि वह अपनी धरती से सक्रिय खालिस्तानी समर्थक तत्वों पर कड़ी कार्रवाई करे। पिछले साल सितंबर में कनाडा के प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडो द्वारा ब्रिटिश कोलंबिया में खालिस्तानी चरमपंथी हरदीप सिंह निज्जर की हत्या में भारतीय एजेंटों की “संभावित” संलिप्तता के आरोपों के बाद दोनों देशों के बीच संबंध गंभीर तनाव में आ गए थे। नई दिल्ली ने ट्रूडो के आरोपों को “बेतुका” बताते हुए खारिज कर दिया।

कनाडा में हिंसा का प्रोत्साहन अस्वीकार्य: इंदिरा गांधी हत्याकांड संबंधी पोस्टर पर मंत्री ने कहा

इससे पहले वैंकूवर में खालिस्तानी समर्थकों द्वारा इंदिरा गांधी की हत्या को दर्शाने वाले पोस्टर कथित रूप से चिपकाये जाने के बाद एक मंत्री ने कहा है कि कनाडा में हिंसा को प्रोत्साहन दिया जाना कभी स्वीकार नहीं किया जा सकता है।

भारतीय मूल के एक कनाडाई सांसद ने भी इस मुद्दे पर यह कहते हुए चिंता जतायी की कि ऐसा कर खालिस्तानी समर्थक हिंदू कनाडाइयों के मन में हिंसा का डर पैदा करने की कोशिश कर रहे हैं।

जन सुरक्षा, लोकतांत्रिक संगठन और अंतर-सरकारी विषयक मंत्री डोमनिक ए लेब्लांक ने ‘एक्स’ पर पोस्ट किया, ‘‘ इस सप्ताह वैंकूवर में भारतीय प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी की हत्या को दर्शाने वाले पोस्टर चिपकाये जाने की खबर आयी है।’’ उन्होंने कहा, ‘‘ कनाडा में हिंसा को प्रोत्साहन कभी स्वीकार्य नहीं है।’’ गांधी की 1984 में सिख अंगरक्षकों ने हत्या कर दी थी।

इस बीच कनाडा के ‘हाउस ऑफ कामंस’ में नेपियन निर्वाचन क्षेत्र के प्रतिनिधित्व भारतीय मूल के कनाडाई सांसद चंद्र आर्य ने कहा, ‘‘ वैंकूवर में खालिस्तान समर्थक गोलियों से छलनी हिंदू भारतीय प्रधानमंत्री इंदिर गांधी के शव और साथ में अपनी बंदूक लिये खड़े उनके हमलावर अंगरक्षक के पोस्टर के माध्यम से हिंदू -कनाडाइयों के मन में हिंसा का डर पैदा करने की फिर चेष्टा कर रहे हैं।’’

प्रधानमंत्री जस्टिन ट्रूडू की पार्टी के सांसद आर्य ने कहा, ‘‘ कुछ साल पहले और कुछ महीने पहले ब्रम्पटन में सिख फॉर जस्टिस के (गुरपतवंत सिंह)पन्नून ने हिंदुओं को भारत चले जाने की जो धमकी थी, यह उन्हीं धमकियों की निरंतरता है।’’

पन्नूर खालिस्तान आंदोलन के मुख्य नेताओं में एक है और ‘सिख फॉर जस्टिस (एसएफजे)’ का कानूनी सलाहकार एवं प्रवक्ता है।

एसएफजे का लक्ष्य पृथक सिख राज्य (राष्ट्र) के विचार को बढ़ावा देना है।

आर्य ने कनाडा की कानून प्रवर्तन एजेंसियों को तत्काल कार्रवाई करने को कहा। उन्होंने कहा, ‘‘ यदि इसे यूं ही चलते रहने दिया गया तो संदेश देने के लिए इस्तेमाल की जा रही बंदूक की तस्वीरें से वाकई कुछ ऐसा न हो जाए। इंदिरा गांधी के माथे पर प्रमुखता से बिंदी को दर्शाना यह बिल्कुल सुनिश्चित करना है कि लक्षित निशाने कनाडा में हिंदू हैं।’’

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

nagatop

nagatop

kingbet188